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अमेरिकी शेयर सूचकांक बुधवार को भारी गिरावट के साथ बंद हुए, जिसमें टेक कंपनियां और ऑटो निर्माता सबसे ज़्यादा प्रभावित हुए। निवेशक अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा आयातित कारों पर नए टैरिफ की घोषणा का इंतजार कर रहे हैं, जिससे वैश्विक बाज़ार में उथल-पुथल मच सकती है।
व्हाइट हाउस से संभावित टैरिफ की घोषणा की आशंका के चलते निवेशकों ने तेज़ी से शेयरों की बिक्री शुरू कर दी। ट्रंप ने बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई थी, जिसमें विदेशी ऑटो उद्योग के खिलाफ कड़े प्रतिबंधों की घोषणा होने की उम्मीद थी। इस आक्रामक व्यापार नीति से अंतरराष्ट्रीय आर्थिक स्थिरता को झटका लग सकता है।
ऑटो विशेषज्ञों का मानना है कि नए टैरिफ से कारों की कीमतों में तेज़ उछाल आ सकता है और उत्पादन में बाधा उत्पन्न हो सकती है। ट्रंप कई हफ्तों से इस कदम की ओर संकेत दे रहे थे और 2 अप्रैल से जवाबी उपाय लागू करने का वादा कर चुके थे।
अनिश्चितता के माहौल में टेस्ला के शेयर 5.6% और जनरल मोटर्स के शेयर 3.1% गिर गए। निवेशक न केवल टैरिफ के प्रभाव को लेकर बल्कि अन्य देशों की प्रतिक्रिया को लेकर भी चिंतित हैं। अमेरिका के व्यापारिक साझेदार जवाबी कदम उठा सकते हैं, जिससे वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला बाधित हो सकती है और मांग में गिरावट आ सकती है।
प्रौद्योगिकी क्षेत्र भी दबाव में रहा। एनवीडिया के शेयर 6% और ब्रॉडकॉम के 5% गिर गए, जिससे PHLX सेमीकंडक्टर इंडेक्स 3.3% नीचे चला गया। वैश्विक व्यापार और इलेक्ट्रॉनिक्स की मांग पर निर्भर होने के कारण टेक कंपनियां आर्थिक संकेतों के प्रति अधिक संवेदनशील रहीं।
बाज़ार में अनिश्चितता के बीच प्रमुख शेयर सूचकांक गिरावट के साथ बंद हुए:
यह घटना एक बार फिर दिखाती है कि शेयर बाजार राजनीतिक फैसलों और अंतरराष्ट्रीय टकरावों के प्रति कितना संवेदनशील है।
S&P 500 के 11 प्रमुख क्षेत्रों में से आधे से अधिक लाल निशान में रहे। सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र 2.46% गिरा, जबकि टेलीकॉम सेक्टर 2.04% गिरा। निवेशकों ने जोखिम भरे एसेट्स को बेचना जारी रखा, क्योंकि व्यापार प्रतिबंधों को लेकर चिंता बनी हुई है।
व्यापारिक अनिश्चितता बढ़ने के साथ ही अमेरिकी कंपनियों के बीच संदेह गहराता जा रहा है। शीर्ष प्रबंधकों के हालिया सर्वेक्षण से पता चला कि व्यापार नीतियों की अस्थिरता और महंगाई को लेकर चिंता बनी हुई है।
संभावित टैरिफ के कारण बढ़ती लागत से बचने के लिए अमेरिकी कंपनियों ने अपने गोदामों में स्टॉक बढ़ाना शुरू कर दिया है। पिछले महीने टिकाऊ वस्तुओं के ऑर्डर में अप्रत्याशित वृद्धि देखी गई, जिससे पता चलता है कि कंपनियां संभावित झटकों के खिलाफ सुरक्षा उपाय कर रही हैं।
निवेश बैंक बार्कलेज ने S&P 500 के लिए अपने पूर्वानुमान को घटाकर 5,900 अंक कर दिया, जो पहले 6,600 था। 2025 की शुरुआत से ही यह सूचकांक 3% गिर चुका है, जबकि तकनीकी-केंद्रित नैस्डैक 7% नीचे आ चुका है।
इस सप्ताह निवेशकों की नज़र फेडरल रिज़र्व के मुख्य मुद्रास्फीति संकेतक पर्सनल कंजम्पशन एक्सपेंडिचर (PCE) रिपोर्ट पर होगी, जो शुक्रवार को जारी की जाएगी और मौद्रिक नीति को प्रभावित कर सकती है।
मिनियापोलिस फेडरल रिज़र्व के अध्यक्ष नील कशकारी ने ट्रंप की टैरिफ रणनीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि इससे मुद्रास्फीति बढ़ सकती है और फेड को ब्याज दरें बढ़ाने पर मजबूर होना पड़ सकता है।
डिस्काउंट रिटेलर डॉलर ट्री के शेयर 3.1% चढ़ गए, क्योंकि कंपनी ने फैमिली डॉलर यूनिट को $1 बिलियन में बेचने की योजना की घोषणा की।
गेमस्टॉप के शेयर 12% उछल गए, क्योंकि बोर्ड ने बिटकॉइन को ट्रेजरी रिज़र्व में शामिल करने का फैसला किया। यह कदम क्रिप्टो निवेशकों को आकर्षित करने का प्रयास है।
गुरुवार को वैश्विक बाज़ारों में गिरावट जारी रही, विशेष रूप से एशिया में। जापान और दक्षिण कोरिया के बाज़ारों में तेज़ गिरावट देखी गई।
यूरोपीय स्टॉक्स 50 फ्यूचर्स 0.5% गिरा, जबकि FTSE 0.2% नीचे रहा।
चीनी बाजार ने अपेक्षाकृत स्थिरता दिखाई। CSI300 इंडेक्स 0.4% बढ़ा और हैंग सेंग 1% चढ़ा।
10-वर्षीय ट्रेजरी बॉन्ड का यील्ड 4.3537% पर स्थिर रहा।